उत्तराखंड
*कालाढूंगी-रामनगर हाईवे में आपदा प्रभावित क्षेत्र में जल्द शुरू करें कामः डीएम*
हल्द्वानी। कालाढूंगी में नालों के संबंध में डीएम वंदना सिंह ने कैंप हल्द्वानी में सिंचाई और राजस्व विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक की। बैठक में डीएम ने कालाढूंगी-रामनगर हाईवे के नीचे रामपुर विद्रामपुर नाले से लगते हुए लगभग 03 किलोमीटर क्षेत्र में प्रभावित 20 स्थलों पर 15 दिनों के लिए पर्याप्त मात्रा में मशीन लगाकर चैनलाइजेशन का कार्य सोमवार से चालू करने के निर्देश सिंचाई विभाग को दिए।
विदित है की कालादूंगी _रामनगर के हाईवे के नीचे क्षेत्र में पानी ओवरफ्लो होने से कुछ क्षेत्रों में भू कटाव और आबादी को नुकसान होने का खतरा बना रहता है। इसी खतरे को इस मानसून सीजन में रोकने/कम करने के लिए सिंचाई विभाग को तत्काल तात्कालिक कार्य चालू करने के निर्देश दिए है जिसकी मॉनिटरिंग एसडीएम कालाढूंगी करेंगी। डीएम ने समस्त एस डी एम को निर्देशित किया है कि अपने क्षेत्रों में आपदा के तहत हो रहे कार्यों की मॉनिटरिंग की जाए, साथ ही गुणवत्ता का विशेष ध्यान रखा जाए।
अपने पूर्व के कालादूंगी निरीक्षण में डीएम ने एसडीएम कालाढूंगी और सिंचाई विभाग को निर्देशित किया था कि कालाढूंगी क्षेत्र के सभी नालों का ड्रोन सर्वे किया जाए। इसी संबंध में सिंचाई विभाग द्वारा क्षेत्र के चूना खान, विदारामपुर, करकट, कालीगाड़, धमनवा, गेबुआ नाला और निहाल नदी का ड्रोन सर्वे कर पीपीटी के माध्यम से प्रस्तुतीकरण दिया।
बैठक लेते हुए डीएम वंदना सिंह ने कहा कि हर वर्ष मानसून सीजन में निहाल नदी, चूना खान, मंगोली नाला, चारता नाला, जमीरा नाला , करकट, गेबुआ और धमनवा नाले से लगे हुए कतिपय क्षेत्रों में आबादी और कृषि क्षेत्र को नुकसान होता है। इसके लिए सिंचाई विभाग को निर्देशित किया कि इस मानसून की जद में प्रभावित होने वाले क्षेत्रों को चिन्हित करते हुए तत्काल तात्कालिक कार्य चालू किए जाए जिससे इस मानसून में होने वाले नुकसान को रोका जा सके।
साथ ही जिन स्थलों में दीर्घकालिक कार्य किए जाने है उन क्षेत्रों की डीपीआर तैयार कर शासन को प्रेषित की जाए जिससे हर बार की मानसून से होने वाली क्षति का स्थाई समाधान करके इन क्षेत्रों का भविष्य सुरक्षित किया जा सके। बैठक में एसडीएम कालाढूंगी, विधायक प्रतिनिधि विकास भगत, ईई सिंचाई ए के वर्मा, ए ई गणेश पांडेय, जे ई यशवंत सिंह, हरीश भट्ट सहित अन्य लोग मौजूद थे।